पटना । बिहार में चुनावी सरगर्मी तेज होते ही सियासी आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो गया है। राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के वरिष्ठ नेता और पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और केंद्र सरकार पर तीखा हमला बोलते हुए 12 अहम सवाल उठाए हैं। उन्होंने बिहार के विकास और केंद्र सरकार की नीतियों पर सवाल खड़े करते हुए कहा कि चुनावी वर्ष में भाजपा नेता बिहार का राजनीतिक पर्यटन करेंगे, झूठे वादे करेंगे, लेकिन इन मूलभूत सवालों का जवाब नहीं देंगे।
तेजस्वी यादव ने पूछा कि पिछले 11 वर्षों में गुजरात को विकास कार्यों के लिए कितनी धनराशि दी गई और बिहार को कितनी? उन्होंने गुजरात और बिहार के औद्योगिक विकास की तुलना करते हुए पूछा कि गुजरात में लाखों करोड़ के नए उद्योग लगे, लेकिन बिहार को क्या मिला?
उन्होंने बिहार में 20 वर्षों की एनडीए सरकार और 11 वर्षों की केंद्र सरकार की नीतियों पर सवाल उठाते हुए पूछा कि बिहार में पलायन रोकने के लिए क्या किया गया, कितने नए विश्वविद्यालय स्थापित हुए, कितने युवाओं को नौकरी मिली और कितनी चीनी मिलें शुरू हुईं?
इसके अलावा, तेजस्वी यादव ने बिहार में बाढ़ नियंत्रण, बेरोजगारी, गरीबी और पलायन जैसे मुद्दों पर सरकार से स्पष्टीकरण मांगा। उन्होंने पूछा कि बिहार नीति आयोग के विकास सूचकांकों में सबसे फिसड्डी क्यों है और डबल इंजन सरकार ने कितने नए उद्योग लगाए या कितने पुराने उद्योग बंद कराए?
तेजस्वी यादव ने कहा कि भाजपा केवल चुनावी समय में बिहार को याद करती है, लेकिन वास्तविक मुद्दों पर कोई जवाब नहीं देती। उन्होंने भाजपा से आग्रह किया कि वे अनर्गल बयानबाजी के बजाय उनके सवालों का तार्किक और तथ्यात्मक जवाब दें।
राजद के इस हमले से बिहार की राजनीति में उबाल आ गया है। भाजपा की ओर से अभी तक इस पर कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है, लेकिन माना जा रहा है कि आगामी दिनों में इस पर सियासी बयानबाजी और तेज हो सकती है।